जर्मन चांसलर ओलाफ स्कोल्ज दो दिवसीय यात्रा पर भारत पहुंच चुके हैं। राष्ट्रपति भवन में स्वयं प्रधानमंत्री मोदी ने उनका स्वागत किया। दोनो ही नेता आज ऊर्जा, व्यापार और तकनीक से जुड़े क्षेत्रों में कई अहम मुद्दों पर चर्चा करेंगे।
News Jungal desk: जर्मन चांसलर ओलाफ स्कोल्ज़ दो दिवसीय यात्रा पर शनिवार को भारत पहुंच चुके हैं। राष्ट्रपति भवन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उनका गर्मजोशी से स्वागत किया। दोनों नेता आज समग्र वार्ता करेंगे। इस यात्रा से नई तकनीकों, स्वच्छ ऊर्जा, व्यापार और निवेश सहित कई प्रमुख क्षेत्रों में समग्र द्विपक्षीय संबंधों के और भी विस्तार होने की उम्मीद है। स्कोल्ज़ सुबह करीब 11:45 बजे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ एक व्यापक वार्ता करेंगे, जिसमें यूक्रेन संघर्ष, भारत-प्रशांत क्षेत्र की ताजा स्थिति और द्विपक्षीय संबंधों को बढ़ावा देने के तरीके शामिल होंगे।
शीर्ष पद पर एंजेला मर्केल के ऐतिहासिक 16 वर्षों के कार्यकाल के बाद दिसंबर 2021 में जर्मन चांसलर बनने के बाद स्कोल्ज़ की यह पहली भारत यात्रा है। मोदी-स्कोल्ज वार्ता के व्यापक एजेंडे से परिचित लोगों ने कहा कि विचार-विमर्श के दौरान रूस-यूक्रेन संघर्ष के परिणामों को प्रमुखता से उठाए जाने की उम्मीद की जा रही है।
विभिन्न मुद्दों पर होगी चर्चा
उन्होंने कहा कि वार्ता व्यापार, रक्षा, स्वच्छ ऊर्जा, जलवायु परिवर्तन और नई प्रौद्योगिकियों के अहम क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने पर भी ध्यान केंद्रित करेगी। दोनों नेताओं के भारत-प्रशांत क्षेत्र में समग्र स्थिति पर भी विचार करने की उम्मीद हो रही है, एक ऐसा क्षेत्र जिसने पिछले कुछ वर्षों से बढ़ती हुई चीनी मुखरता देखी है। मोदी और स्कोल्ज की पिछले साल 16 नवंबर को जी20 शिखर सम्मेलन से इतर इंडोनेशिया के रिसॉर्टस शहर बाली में द्विपक्षीय वार्ता हुई थी।
पहले भी हो चुकी है दोनों नेताओं की मुलाकात
दोनों नेताओं के बीच पहली मुलाकात पिछले साल 2 मई को भारत-जर्मनी अंतर-सरकारी वार्ता (आईजीसी) के लिए मोदी की बर्लिन यात्रा के दौरान हुई थी। इसके बाद 26 और 27 जून को जी7 समूह के वार्षिक शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए मोदी ने दक्षिणी जर्मनी में श्लॉस एलमाऊ के अल्पाइन महल का दौरा किया।
स्कोल्ज़ ने मोदी को जर्मन राष्ट्रपति पद के तहत जी 7 शिखर सम्मेलन के लिए आमंत्रित किया। पिछले कुछ सालों में भारत और जर्मनी के बीच कई प्रमुख क्षेत्रों में संबंध प्रगाढ़ हुए हैं। शोल्ज़ रविवार सुबह बेंगलुरु के लिए रवाना होंगे और कर्नाटक की राजधानी से शाम करीब साढ़े पांच बजे रवाना होंगे।