Turncoat Politicians: जैसे जैसे चुनाव का मौसम निकट आता है तमाम पार्टियों के नेताओं का असली रंग सामने आने लगता हैं | इस बार भी 2024 लोकसभा चुनाव में कुछ ऐसा ही देखने को मिला है जिससे सबसे अधिक नुकसान बसपा को उत्तर प्रदेश में हुआ, जिसके ज्यादातर मौजूदा सांसद पार्टी छोड़ चुके हैं। 2019 में निर्दलीय जीते चार सांसदों में से दो भाजपा में शामिल हो गए हैं।
चुनाव का मौसम है। नेताओं का दलबदल जारी है। इस बीच भाजपा, कांग्रेस समेत कई दलों के मौजूदा सांसदों ने भी दल बदल लिया है। आम आदमी पार्टी के लोकसभा में एकलौते सांसद थे, जो टिकट मिलने के बाद पाला बदलकर (Turncoats In Election) भाजपा के साथ आ गए। अपनी पार्टी छोड़ने वाले कई सांसदों को दूसरे दलों से टिकट भी मिला है। इसके अलावा कांग्रेस के कई प्रवक्ताओं ने पार्टी का साथ छोड़ दिया।
Lok Sabha elections 2024 updates
543 सदस्यीय लोकसभा में सबसे ज्यादा 80 सीटें उत्तर प्रदेश में आती हैं। कई सांसदों ने यहाँ चुनाव (Turncoat Politicians of Uttar Pradesh) से पहले दलबदल किया, जिसमें सबसे ज्यादा नुकसान बसपा को हुआ। लोकसभा चुनाव 2019 के बसपा के 10 सांसद जीतकर संसद पहुँचे थे। वर्तमान में बसपा के चार सांसद ही रह गए हैं।
आजमगढ़ जिले की लालगंज सीट से सांसद संगीता आजाद, अंबेडकर नगर सीट से सांसद रितेश पांडेय भाजपा में शामिल हो चुके हैं। रितेश पांडेय को भाजपा ने इस बार अंबेडकर नगर सीट से उम्मीदवार (bjp candidate from ambedkar nagar) भी बना दिया है। अमरोहा सांसद दानिश अली कांग्रेस में शामिल हो चुके हैं। कांग्रेस ने दानिश को यहाँ से अपना उम्मीदवार बनाया है। इससे पहले बसपा ने पार्टी विरोधी गतिविधियों के चलते दानिश को पार्टी से निकाल दिया था।
मुख्तार अंसारी के भाई अफजल अंसारी (Ghazipur lok sabha sp candidate) बसपा का साथ छोड़कर फिर से समाजवादी पार्टी में शामिल हो गए हैं और उन्हें गाजीपुर संसदीय सीट से सपा ने अपना प्रत्याशी भी घोषित कर दिया। पार्टी छोड़ने वालों में सबसे ताजा नाम मलूक नागर का है। बिजनौर सांसद मलूक नागर बसपा छोड़कर राष्ट्रीय लोक दल में शामिल हो गए हैं।
हालाँकि, रालोद पहले ही बिजनौर लोकसभा सीट 2024 पर विधायक चंदन चौहान को अपना उम्मीदवार घोषित कर चुकी है। पार्टी छोड़ने वालों में एक नाम राम शिरोमणि वर्मा का भी है। श्रावस्ती सांसद वर्मा बसपा छोड़कर सपा में शामिल हो गए हैं। समाजवादी पार्टी गठबंधन ने राम शिरोमणि वर्मा को श्रावस्ती से प्रत्याशी भी बनाया है।
Turncoats in Telangana
राज्य में पिछली बार 17 में से नौ सीटों पर जीती थी के. चंद्रशेखर राव वाली बीआरएस। हालाँकि, इसके कई सांसद दलबदल (BRS turncoats) कर चुके हैं। जहीराबाद के सांसद बीबी पाटिल, नागरकुर्नूल (एससी) से सांसद पोथुगंती रामुलु और पेद्दापल्ली से बोरलाकुंटा वेंकटेश भाजपा में शामिल हो चुके हैं। बीबी पाटिल को भाजपा ने जहीराबाद से अपना उम्मीदवार बनाया है।
नागरकुर्नूल सीट (Nagarkurnool lok sabha seat) पर सांसद पोथुगंती रामुलु की जगह उनके बेटे भारत प्रसाद को भाजपा ने अपना चेहरा घोषित किया है। पेद्दापल्ली सांसद वेंकटेश पहले बीआरएस से कांग्रेस में गए थे, लेकिन जब उन्हें टिकट नहीं मिला तो वह भाजपा में शामिल हो गए। वहीं, वारंगल से सांसद पसुनुरी दयाकर और चेवेल्ला से सांसद रंजीत रेड्डी कांग्रेस में शामिल हो गए। कांग्रेस ने चेवेल्ला सीट पर बीआरएस से आए रंजीत रेड्डी को टिकट दिया है लेकिन वारंगल में दयाकर को मौका नहीं दिया गया।
Turncoats of Lok Sabha Chunav 2024
इस चुनाव में तमाम विपक्षी दलों के कई सांसद भाजपा में शामिल हुए हैं। इसी सूची में एक चर्चित नाम नवनीत राणा का भी है। 2019 में हुए लोकसभा चुनाव में चार निर्दलीय जीतकर संसद पहुँचे थे। इनमें से एक नवनीत राणा भी थीं। 2024 लोकसभा चुनाव में नवनीत भाजपा में शामिल हो गईं। महाराष्ट्र की अमरावती सीट से भाजपा ने नवनीत राणा (Amravati bjp candidate) को अपना उम्मीदवार भी बनाया था। वे वर्तमान में इसी सीट से सांसद हैं।
2019 में जीतीं एक अन्य निर्दलीय सांसद सुमलता अंबरीश शुक्रवार को भाजपा में शामिल हो गईं। अभिनेता से नेता बनीं सुमलता कर्नाटक के मांड्या से निर्दलीय सांसद चुनी गई थीं। सुमलता मांड्या सीट से भाजपा का टिकट माँग रही थीं, लेकिन भाजपा ने गठबंधन सहयोगी जेडीएस को दे दिया। पूर्व मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी मांड्या से एनडीए उम्मीदवार थे।
रवनीत सिंह बिट्टू जोकि लुधियाना सांसद तथा पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री बेअंत सिंह के पोते है हाल ही में कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल हो गए। भाजपा ने बिट्टू को यहाँ से अपना उम्मीदवार बनाया है। कांग्रेस से निलंबित सांसद और पूर्व सीएम अमरिंदर सिंह की पत्नी परणीत कौर भी भाजपा में शामिल हो गई हैं। परणीत पटियाला सीट (patiala lok sabha constituency) पर भाजपा की उम्मीदवार हैं।
पंजाब की एक अन्य सीट जालंधर से सांसद सुशील कुमार रिंकू आप छोड़कर भाजपा में शामिल हो गए। रिंकू आम आदमी पार्टी से एकलौते सांसद थे।
झारखंड में पूर्व मुख्यमंत्री मधु कोड़ा की पत्नी गीता कोड़ा भी कांग्रेस छोड़कर भाजपा में आ गईं। भाजपा ने सिंहभूम लोकसभा सीट से गीता कोड़ा को अपना प्रत्याशी बनाया है।
बीजद के अनुभवी सांसद महताब हाल ही में भाजपा में शामिल हुए थे। बीजद छोड़ने वाले महताब अब कटक से भाजपा के प्रत्याशी हैं।
दादरा और नगर हवेली (डीएनएच) से सांसद कलाबेन डेलकर शिवसेना (यूबीटी) छोड़कर भाजपा में शामिल हो गईं। वह भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के टिकट पर चुनाव मैदान में उतरीं। डेलकर ने महाराष्ट्र के बाहर पहली शिवसेना (यूबीटी) सांसद थीं। कलाबेन दादरा और नगर हवेली (Dadra Nagar Haveli) लोकसभा सीट से 2021 में उपचुनाव में जीती थीं। उनके पति मोहनभाई संजीभाई डेलकर के निधन के बाद यह सीट खाली हुई थी।
Turncoatism In BJP
बिहार के मुजफ्फरपुर से मौजूदा सांसद अजय कुमार निषाद भाजपा द्वारा टिकट नहीं दिए जाने के बाद कांग्रेस में शामिल हो गए। बाद में कांग्रेस ने उन्हें मुजफ्फरपुर से अपना प्रत्याशी घोषित कर दिया।
हरियाणा में वरिष्ठ नेता चौधरी बीरेंद्र सिंह के बेटे और भाजपा से हिसार के सांसद बृजेंद्र सिंह ने भाजपा को छोड़कर कांग्रेस में शामिल हो गए। बृजेंद्र को उम्मीद थी कि कांग्रेस से उन्हें टिकट मिलेगा लेकिन हाल ही में जारी पार्टी उम्मीदवारों की सूची में उनका नाम नहीं आया। हिसार से पार्टी ने जय प्रकाश (hisar congress candidate 2024) को टिकट दिया है।
चूरू लोकसभा सीट 2024 पर भाजपा ने मौजूदा सांसद राहुल कास्वां का टिकट काट दिया। उनकी जगह पैरा खिलाड़ी देवेंद्र झांझड़िया को अपना चेहरा घोषित किया था। टिकट कटने के बाद कस्वां भाजपा छोड़ कांग्रेस में चले गए। कांग्रेस ने राहुल को चूरू से अपना उम्मीदवार भी घोषित किया था।
कर्नाटक में लोकसभा चुनाव 2024 के लिए टिकट नहीं मिलने से निराश सांसद संगन्ना कराडी कांग्रेस में शामिल हो गए। प्रमुख लिंगायत समुदाय के नेता कराडी कोप्पल से दो बार के भाजपा सांसद हैं।
जलगाँव से भाजपा सांसद उन्मेश पाटिल शिवसेना (यूबीटी) में शामिल हो गए। पाटिल को इस बार टिकट नहीं दिया गया था।
Exodus In Congress
पिछले दिनों कांग्रेस के दो राष्ट्रीय प्रवक्ताओं ने कांग्रेस को अलविदा कहा। कांग्रेस के पूर्व प्रवक्ता रोहन गुप्ता लोकसभा चुनाव 2024 भाजपा में शामिल हो गए। रोहन ने ‘सनातन धर्म’ का अपमान करने के लिए कांग्रेस की आलोचना की और कहा कि उन्हें अयोध्या में राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा के बारे में चुप रहने के लिए कहा गया था।
इससे पहले कांग्रेस ने रोहन गुप्ता को अहमदाबाद पूर्व (Ahmedabad East Lok Sabha Seat) से अपना उम्मीदवार घोषित किया था। पिता की खराब तबियत का हवाला देते हुए उन्होंने टिकट वापस कर दिया और कुछ दिनों बाद भाजपा में चले गए। एक अन्य प्रवक्ता गौरव वल्लभ ने भी इससे पहले पार्टी छोड़ दी और आम चुनाव से पहले सत्तारूढ़ दल में शामिल हो गए।
मुक्केबाजी में भारत के पहले ओलंपिक पदक विजेता विजेंदर सिंह भी लोकसभा चुनाव 2024 (election 2024) से पहले कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल हो गए। उनका नाम मथुरा से पार्टी के उम्मीदवार के रूप में चर्चा में था, जहाँ से अभिनेत्री और मौजूदा सांसद हेमा मालिनी भाजपा की उम्मीदवार थीं। मुंबई में कई कांग्रेस नेताओं ने चुनाव के बीच पार्टी का साथ छोड़ दिया।
हाल में पूर्व सांसद संजय निरुपम ने पार्टी को अलविदा कहा। वह मुंबई उत्तर पश्चिम सीट (mumbai north west lok sabha constituency) कांग्रेस की ओर से शिवसेना यूबीटी को सौंपे जाने से नाराज थे। इससे पहले महाराष्ट्र के दो बड़े नेता मिलिंद देवड़ा और अशोक चव्हाण भी कांग्रेस का दामन छोड़ चुके हैं।
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