यूपी : हत्‍यारे को पहले जेल से निकलवाया, फिर सिर में उतार दीं 3 गोलियां,शख्स ने ऐसे लिया बदला

 उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी से एक हैरतअंगेज अपराध की कहानी सामने आई है. 50 साल के एक किसान ने बेटे की मौत का बदला अलग तरीके से लिया है. शख्स ने पहले वकील की मदद से बेटे के हत्‍यारे को जमानत पर जेल से रिहा कराया. इसके बाद उसके सिर में 3 गोलियां उतार दीं

News Jungal Desk : उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी से एक खौफनाक वारदात सामने आई है । और यहां एक शख्‍स ने अपने बेटे की हत्‍या का बदला लेने के लिए एक खौफनाक तरीका अपनाया है । बदला लेने का तरीका जानकर आप भी हैरान हो जाएंगे । और शख्स ने पहले वकील की मदद से बेटे के हत्‍यारे को जमानत पर जेल से रिहा कराया है । फिर उसे मौत के घाट उतार दिया । बेटे का हत्यारा शख्स का एक नजदीकी रिश्‍तेदार था । और इस तरह से शख्स ने अपने बेटे की हत्या का बदला ले लिया है ।

मितौली इलाके में एक 50 वर्षीय किसान के 14 वर्षीय बेटे की हत्या उसकी पत्नी और एक करीबी रिश्तेदार ने की थी । और शुक्रवार रात 47 वर्षीय शत्रुध्न लाला के सिर में तीन गोलियां मारी गईं और मौके पर ही उसकी मौत हो गई थी । पुलिस के अनुसार काशी की पत्नी ने 2021 में लाला की मदद से अपने ही बेटे जितेंद्र की हत्या कर दी थी । और जब लड़के ने दोनों को कथित तौर पर आपत्तिजनक स्थिति में देखा था । और उस समय 50 वर्षीय किसान एक अलग मामले में जेल में था ।

पुलिस ने बोला कि महिला और लाला को बाद में नाबालिग की हत्या के आरोप में गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया था । लेकिन काशी हमेशा अपने बेटे की मौत का बदला लेना चाहता था । और माना जा रहा है कि दिसंबर 2022 में जेल से बाहर आने के बाद, काशी ने एक वकील को काम पर रखकर लाला की जमानत सुनिश्चित करी है। लाला को अप्रैल के पहले सप्ताह में जमानत मिल गई थी और तभी से काशी उसे मारने के लिए मौके की तलाश में था ।

पुलिस ने बोला कि उन्होंने मामले में काशी के खिलाफ सबूत बरामद किए हैं । और काशी खीरी जिले में बंद था और एक स्थानीय विवाद में 2020 हुई हत्या के मामले में सह-आरोपी था । साल 2021 में उसका 14 साल का बेटा जितेंद्र अचानक घर से गायब हो गया. कुछ दिन बाद उसका शव नदी के किनारे पड़ा मिला था. पुलिस को लगा कि शायद जितेंद्र की मौत डूबने की वजह से हुई, इसलिए कोई मामला वगैरह नहीं दर्ज किया गया ।

बाद में काशी की पत्नी और लाला के बीच कुछ मतभेद हो गया और उसने अक्टूबर 2021 में एफआईआर दर्ज करने के लिए अदालत का दरवाजा खटखटाया. जांच के बाद, पुलिस ने दोनों को जितेंद्र की हत्या में शामिल पाया और उन्हें जेल भेज दिया. उधर, जेल में बंद चल रहे काशी को जब बेटे की मौत का पता चला तो उसने बदला लेने की ठान लिया ।

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