बिपरजॉय चक्रवात को लेकर चेतावनी जारी, जानिए कितनी मचेगी तबाही

मौसम विभाग ने कहा, ‘चक्रवाती तूफान की पुरानी रफ्तार से तुलना करें, तो बिपरजॉय समय के साथ थोड़ा कमजोर हुआ है. इसकी गति 13 जून को 150 से 160 किमी/घंटा और 14 जून को 135 से 145 किमी/घंटा थी. इसी तरह से 15 जून को चक्रवात की गति 125 से 135 किमी/घंटा तक जाने की उम्मीद है.’

 News Jungal Desk :भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने मंगलवार को बोला कि चक्रवात ‘बिपरजॉय’ से बड़े स्तर पर नुकसान पहुंचने की आशंका है. उन्होंने बोला कि चक्रवाती तूफान की वजह से गुजरात के कच्छ, देवभूमि द्वारका और जामनगर जिले सबसे अधिक प्रभावित हो सकते हैं. ‘बिपरजॉय’ के लिए जारी अपने नए अपडेट में आईएमडी ने चेतावनी देते हुए बोला , ‘सौराष्ट्र, कच्छ के निचले तटवर्ती इलाकों में तीन से छह मीटर ऊंची ज्वारीय लहरें आ सकती हैं । और ऐसे क्षेत्रों से लोगों को निकाले जाने की सिफारिश की जाती है ।

आईएमडी के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने बोला कि चक्रवात ‘बिपरजॉय’ फिलहाल उत्तर-पूर्व अरब सागर में केंद्रित है और उत्तर दिशा की ओर बढ़ रहा है और उन्होंने बताया कि चक्रवात द्वारका से करीब 200 किमी की दूरी पर है और उम्मीद जताई कि कच्छ एवं द्वारिका में इसका असर नजर आएगा. हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि मंगलवार सुबह चक्रवात थोड़ा कमजोर हुआ था, लेकिन 15 जून के आसपास ये अत्यंत भीषण चक्रवाती तूफान की स्थिति में होगा ।

उन्होंने बोला कि , ‘चक्रवाती तूफान की पुरानी रफ्तार से तुलना करें, तो बिपरजॉय समय के साथ थोड़ा कमजोर हुआ है । इसकी गति 13 जून को 150 से 160 किमी/घंटा और 14 जून को 135 से 145 किमी/घंटा थी. इसी तरह से 15 जून को चक्रवात की गति 125 से 135 किमी/घंटा तक जाने की उम्मीद है.’ चक्रवात के गुजरात के जखाऊ बंदरगाह के पास टकराने का अनुमान है. यह 15 जून को दोपहर के आसपास गुजरात के तट पर पहुंचेगा. इससे पहले 135-145 किमी प्रति घंटा से लेकर 150 किमी प्रति घंटे तक की रफ्तार से हवाएं चलेंगी और बहुत भारी बारिश होगी ।

विभाग ने कहा कि 14 जून को राजकोट,जूनागढ़, जामनगर और द्वारका में कम मात्रा में बारिश होगी, लेकिन इन इलाको में इतनी बारिश से बाढ़ और अन्य तरह के खतरे हो सकते है. 15 दिन तक लोगों को समुंदरीय इलाकों से दूर रहने की सलाह दी गई है. आईएमडी के अनुसार, पोरबंदर, राजकोट, मोरबी और जूनागढ़ में भारी से अधिक भारी बारिश होने के आसार हैं. इन जिलों में 140 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चल सकती हैं.

महापात्र ने कहा, ‘सौराष्ट्र, कच्छ के निचले तटवर्ती इलाकों में तीन से छह मीटर ऊंची समुद्री लहरें आ सकती हैं. ऐसे क्षेत्रों से लोगों को निकालने के लिए कदम उठाने और अधिकारियों को तत्काल कार्रवाई करने का सुझाव दिया गया है ।

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